Inflationary theory (हिंदी में "मुद्रास्फीति सिद्धांत")
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ब्रह्मांड विज्ञान (कॉस्मोलॉजी) का एक महत्वपूर्ण सिद्धांत है, जो बताता है कि ब्रह्मांड की शुरुआत कैसे हुई और यह इतना विशाल और एकसमान क्यों है। इसे आसान भाषा में समझने के लिए, आइए इसे विस्तार से देखें:1. यह क्या है?Inflationary theory कहता है
कि बिग बैंग (महाविस्फोट) के ठीक बाद, ब्रह्मांड ने एक बहुत ही तेज़ और छोटे समय के लिए विस्तार किया। यह विस्तार इतना तेज़ था कि ब्रह्मांड का आकार कुछ ही पल में अरबों-अरबों गुना बढ़ गया। इसे "मुद्रास्फीति" (Inflation) कहते हैं, जैसे गुब्बारे को फुलाने से उसका आकार तेज़ी से बढ़ता है।2. क्यों जरूरी था यह विस्तार?वैज्ञानिकों ने देखा कि ब्रह्मांड में कुछ चीज़ें ऐसी हैं जो बिग बैंग के साधारण मॉडल से समझ नहीं आतीं। जैसे:ब्रह्मांड एकसमान क्यों है? - ब्रह्मांड के दूर-दूर के हिस्से एक जैसे क्यों दिखते हैं,
जबकि उनके बीच संपर्क होने का समय ही नहीं था?यह इतना सपाट क्यों है? - ब्रह्मांड का ज्यामितीय आकार (geometry) इतना संतुलित क्यों है?कुछ खास दोष क्यों नहीं हैं? - कुछ अनचाहे कण या संरचनाएं जो बननी चाहिए थीं, वे क्यों नहीं दिखतीं?इन सवालों का जव personally Inflationary theory देता है।3. कैसे काम करता है?बिग बैंग के बाद, ब्रह्मांड बहुत छोटा था—एक बिंदु से भी छोटा।फिर, एक विशेष ऊर्जा क्षेत्र (जिसे "इन्फ्लेटन फील्ड" कहते हैं) की वजह से, ब्रह्मांड ने 10^-36 सेकंड (यानी एक सेकंड का अरबोंवां हिस्सा) से लेकर 10^-32 सेकंड तक बहुत तेज़ी से विस्तार किया।
यह विस्तार इतना तेज़ था कि एक सूई की नोक जितना छोटा हिस्सा कुछ ही पल में हमारी पूरी आकाशगंगा से भी बड़ा हो गया।इसके बाद यह विस्तार धीमा हुआ और ब्रह्मांड सामान्य रूप से बढ़ने लगा, जैसा आज हम देखते हैं।4. उदाहरण से समझेंमान लीजिए आपके पास एक छोटा सा गुब्बारा है, जिस पर कुछ बिंदु बने हैं। अगर आप इसे धीरे-धीरे फुलाते हैं, तो बिंदु एक-दूसरे से दूर होते जाएंगे।
लेकिन अगर आप इसे एकदम तेज़ी से फुलाएं, तो बिंदु इतनी जल्दी दूर होंगे कि वे एक-दूसरे से संपर्क भी नहीं कर पाएंगे। Inflationary theory में भी ऐसा ही हुआ—ब्रह्मांड इतनी तेज़ी से फैला कि इसके हिस्से एकसमान हो गए।5. क्या सबूत हैं?कॉस्मिक माइक्रोवेव बैकग्राउंड (CMB): बिग बैंग के बाद बची गर्मी की किरणें आज भी दिखती हैं, और ये बहुत एकसमान हैं। Inflation इसकी वजह बताता है।ब्रह्मांड की संरचना: आकाशगंगाओं और तारों का फैलाव भी इस सिद्धांत से मेल खाता है।
गुरुत्वाकर्षण तरंगें: कुछ वैज्ञानिक मानते हैं कि Inflation के दौरान बनी तरंगें भी इसका सबूत हो सकती हैं, हालांकि इसे पूरी तरह साबित करना बाकी है।6. कौन लेकर आया यह सिद्धांत?इसकी शुरुआत 1980 में भौतिक विज्ञानी एलन गुथ ने की थी। बाद में इसे और वैज्ञानिकों ने बेहतर बनाया।
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